Tuesday, 26 September 2017

आदरणीय प्रकाश जी


आदरणीय प्रकाश जी
प्रदेश उपाध्यक्ष भारतीय जनता पार्टी
आज आपने फिर मुझ पर अनरगल दोषारोपण किया है और मुझे रतौंदी मुकौंदी कनौंधी का मरीज भी घोषित कर दिया है ।प्रकाश जी आज आप बड़े राजनेता हो । राज्य सभा आपका स्वागत करने के लिए आतुर है लेकिन बड़े गर्व के साथ कह सकता हूँ कि गरीबी बेकारी अशिक्षा बीमारी जैसे आम जन से जुड़े मुद्दों पर मैने आपसे ज्यादा कांग्रेस का विरोध किया है । आपातकाल मे भी मैने सत्याग्रह करने के अपने अपराध को अदालत के सामने स्वीकार करते हुये कहा था " हाँ मै इन्दिरा गाँधी का विरोध करता हूँ परन्तु वे राष्ट्र नहीं है इसलिए मेरे खिलाफ भारतीय रक्षा कानून के तहत कोई अपराध नहीं बनता " मेरी इस संस्वीकृति पर मुझे पाँच माह के सश्रम कारावास से दणड़ित किया गया था । 1977 के चुनाव मे आपकी केन्द्रीय मंत्री श्रीमती मेनका गांधी ने अमेठी मे हमे पिटवाया भी था । हमारे साथ ड़ाकटर हर्षवर्धन भी पीटे गये थे । अच्छी तरह समझ लो मै उस समय पढाई के साथ एक फैक्ट्री मे मजदूरी भी करता था। आज भी मेहनतकश मजदूर की तरह जीवन जी रहा हूँ इसलिए स्वभाव से वयवस्था विरोधी हूँ और जो मुझे अच्छा लगता है , निषकपट भाव से कह देता हूँ। आँख मूँदकर किसी का भी अनुगमन करना मुझे नहीं सिखाया गया है ।
मेरी किसी भी बात से असहमति रखना आपका अधिकार है और आपके इस अधिकार का मै सम्मान करता हूँ लेकिन आपको मेरी किसी भी बात के लिये मुझे देशद्रोही, वामपंथी कांग्रेसी या मोदी विरोधी बताने का कोई अधिकार नहीं है। अपने विरोधी विचारों को देशद्रोही बताना हिटलरी तरीका है ।इसका प्रयोग इन्दिरा गाँधी भी करतीं थी । उनके समर्थक " निक्सन को कर दो तार , जयप्रकाश की हो गईं हार " का नारा लगाकर जे पी मूवमेंट को अमेरिका द्वारा प्रायोजित बताया करते थे ।अब आप अपने से असहमति रखने वाले हर बयकति को देशद्रोही, हिन्दू विरोधी बताने मे कांग्रेसियो की तरह तनिक भी नहीं शर्माते, यह देखकर दुख होता है ।
प्रकाश जी " मेरा है न तेरा है , देश सबका है , अगर न समझी गई यह बात , तो नुकशान सबका है " अपने हिन्दू होने या देशभक्त होने का हमे कोई प्रमाण पत्र नहीं चाहिए। मेरा करवदध निवेदन है कि आप मुझ पर अनरगल दोषारोपण तत्काल प्रभाव से बन्द करने की कृपा करें ।
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32 टिप्पणियाँ
टिप्पणियाँ
Ambarish Mishra Nahi to kya? bade bhaiya kya pakistan chale jayenge.,vahan petrol bhi sata hai, (just jocking)
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24 सितंबर को 10:40 अपराह्न बजे
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Anil Kumar Vishwa बहुत सही कहा सर 
"मेरा है न तेरा है, देश सबका है , अगर न समझी गई यह बात , तो नुकशान सबका है"
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24 सितंबर को 10:42 अपराह्न बजे
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Dinesh Yadav Gajab AATMBAL Radhe Radhe bhaiya
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24 सितंबर को 10:49 अपराह्न बजे
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Satyendra Shukla Ranu सच हमेशा निडर होता है अकेला हो या झूठ की भीड में शेर होता है
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24 सितंबर को 11:15 अपराह्न बजे
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Satyendra Shukla Ranu कनक कनक ते........देश के नेता अब देश भक्ती का प्रामानपत्र भी जारी करे गे क्या, कुछ दिनो बाद देश भक्ती को आधार से लिंक कराना होगा मैच कर गया तो ठीक नहीं , तो दो बातें होंगी ...........सिरीअल ऑफिस ऑफिस की तारेह......हाहाहाहाह्हा
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Jai Shankar Bajpai कुछ तो लोग कहेंगे लोगों का काम है कहना ... अपने बिचार स्वतंत्र रूप से ब्यक्त करने का अधिकार प्रत्येक देश वासी को प्राप्त है । प्रतिक्रिया होना भी स्वाभाविक है परन्तु तथ्यों से परे पूर्वाग्रह से युक्त भाषा का इस्तेमाल सभ्य समाज में किसी के लिए भी असोभनीय है।
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24 सितंबर को 11:14 अपराह्न बजे
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Devpriya Awasthi कौशल जी, बेबाकी से अपनी बात कहने के लिए बहुत बहुत बधाई.
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24 सितंबर को 11:45 अपराह्न बजे
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Shamim Khan बहुत कड़वी जवाब,,,
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जवाब देंकल 12:40 पूर्वाह्न बजे
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Randhir Sishodiya आत्मविश्वास
0:00
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कल 01:13 पूर्वाह्न बजे
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Buddh Singh मोदी का विरोध एक सच्चा राष्ट्रभक्त ही कर सकता है
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कल 01:27 पूर्वाह्न बजे
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Narendra Kumar Yadav जौ लोग हिंदू धर्म के हिमायती हैं उन्होंने अब तक हिंदू धर्म में जो बुराइयां है उस पर मौन क्यों हैं।जब चार वर्ण हैं तो चारो वर्णों के शकंराचार्य क्यों नहीं हैं?जातीय आधार पर मन्दिरो काबटवारा कयो नही।?
आखिर धार्मिक आय से होनी वाली आय का बटवाराचारो वर्णो मे कयो नही?सामाजिक हिकारत केशिकार हमीकयो?
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जवाब देंकल 02:05 पूर्वाह्न बजे
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Dayakrishna Kandpal चार वर्
ण है तो प्रधामन्त्री चार सेनाध्यक्ष चार देश भी . . क्या तर्क है ।कोई भी ब्यवस्था बुद्धि बल कर्मचारी व चपरासी के बिना नही चल सकती इन पदो पर अपनी योग्यता वर्ण से लोग जाते है।
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K Vikram Rao Dear Kaushalbhai. Very incisive and exact statement. This BJ P Vice President seems to be an upstart and imbecile. Just ignore him.अनुवाद देखें
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कल 05:40 पूर्वाह्न बजे
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Prakash Sharma K Vikram Rao महोदय बढ़िया बढ़िया गलियों से सुशोभित करने के लिए धन्यवाद कौशल शर्मा इगनोर करें न करे आप इग्नोर करके निकल ले अच्छा होगा क्यों की अगर मैने upstartऔर imbicle समकक्ष कनपुरिया हिंदी सब्दों का प्रयोग किया तो शायद आपको अच्छा न लगे मैंने तो फिर भी पढ़ लिया आप शायद पढ़ न पाए मुझे Uupstart और imbicle ही रहने दे मुझे आप जैसा महान और अनुभवी बनना भी नही,पुनः एक बार मुझे गलिया देने के लिए धन्यवादये चर्चा मेरे और कौशल जी के बिच में है शायद कौशल जी को भी आपके सहयोग की ज्यादा आवश्यकता नही होगे हम आपस में निपट लेंगे
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K Vikram Rao Prakash Sharma ji. Bahut aur dher sara aabhaar.
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Kaushal Sharma प्रकाश जी 
आदरणीय के विक्रम राव जी पर कोई अप्रिय टिप्पणी न करें । आप शायद उनसे परिचित नहीं है । आपका शीर्ष नेतृत्व भी उनके प्रति कृतज्ञता का भाव रखता है ।
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Prakash Sharma Kaushal Sharma जी कृपया आप मेरी टिपण्णी पढ़ ले अगर उसमे कुछ अन्यथा होगा माई हटा दूंगा मै तो उन्हें जनता हु लेकिन उन्होंने मुझे upstart और imbicle जैसे शब्दों से सुशोभित किया है मैंने उनका धन्यवाद दे दिया है,शीर्ष नेत्रित्व कृतज्ञता का भाव रखता है तो उन्हें मुझे गरियाने का अधिकार मिल गया आपने कुछ लिखा मै उत्तर दे रहा हू आप मुझे उत्तर दे रहे है आपकी वाल पर ना जाने कौन कौन क्या क्या लिख रहा है मैंने अभी तक अपनी मर्यादा का पालन किया है लेकिन इसका अर्थ ये नही की मै कुछ भी सुनता रहूँगा
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Kaushal Sharma मेरी इस बात को गमभीरता से ले और यहीं पर पूर्ण विराम लगायें।
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Mahesh Sharma कौशल जी, बहुत अच्छी बात कही आपने। प्रकाश जी को इससे अच्छा जवाब नहीं दिया जा सकता। तार्किक अवलोकन शक्ति विवेक और सहिष्णुता के बिना नहीं प्राप्त होती। ये लोग संबित पात्रा से ही सीख लें। सहिष्णुता हिंदुत्व का सबसे बड़ा अतुलनीय और सशक्त आधार है। पौराणिक कथाओं में इसका भरपूर उल्लेख है। प्रकाश जी आपको शायद नहीं जानते हैं। जाने अनजाने में कह गए होंगे। अब मेरी इस टिप्पणी पर वह यदि दुर्वासा का रूप धर लें तो मुझे अचरज न होगा।
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कल 06:53 पूर्वाह्न बजे
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Prakash Sharma मेरे पत्र का भी अवलोकन करे श्रीमान मैंने उत्तर दिया है मेरी छवि को भावनात्मक रूप से मलिन कर के सत्य नही छिपाया जा सकता,मै भी तार्किक संघर्ष ही कर रहा हु ,किसी गलत बात का प्रत्युतर क्र दो तो असहिष्णुता आ जाती है चिंता मत करी आप सब मिल क्र मुझे चक्रव्यह में मारने का प्रयत्न कीजिये लेकिन मै द्वापर का अभिमन्यु हु मैने द्वापर की कथा सुनी पढ़ी आत्मसात की है इसलिए न दैन्यम न पलायनम
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जवाब देंकल 07:39 पूर्वाह्न बजेसंपादित
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Mahesh Sharma आपकी छवि तो वैसे ही साफ सुथरी है।। अब यह बहस शाइस्तगी आपने हमारे सिम्त मोड़ दी है। कौशल जी निकल लिए। या इलाही ये माजरा क्या है।। इस वैचारिक लड़ाई में आपने खुद को अभिमन्यु घोषित कर दिया। हमारे भीतर वैचारिक क्रूरता नहीं है। हम आपका हश्र अभिमन्यु जैसा न होने देंगे। हर तीर गदा तलवार का वार सह लेंगे। उफ न करेंगे, लब सी लेंगे।।।
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कल 07:50 पूर्वाह्न बजे
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Mahesh Sharma प्रत्युत्तर तो बहुत सहिष्णुता भरा होता है, लेकिन प्रतिक्रिया जहर बुझे तीर जैसी होती है। एक के लिए बुद्धि तो दूसरे के विवेक की आवश्यकता है आत्मन।। आपका अभिप्राय किससे है?
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कल 07:53 पूर्वाह्न बजे
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Prakash Sharma ये कलियुगी अभिमन्यु है जिसे कथाओ में बताया गया है की उस समय के अभिमन्यु के साथ क्या क्या दांव हुए थे इसलिए विश्वास है चक्रव्यूह भेद क्र ही निकलेंगे
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कल 07:55 पूर्वाह्न बजे
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Prakash Sharma Mahesh Sharma उत्तर का प्रत्युतर ही दिया जाता है,वही किया है प्रतिक्रिया देने को तो और भी बहुत सी जगह हैं
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कल 07:57 पूर्वाह्न बजेसंपादित
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Prakash Sharma Kaushal Sharmaजी पूर्व कार्यकर्ता abvp, कारागार बन्दी आपात काल, पूर्व शासकीय अधिवक्ता कानपुर नगर,पूर्व प्रतिनिधि संसद राजीव शुक्ला कांग्रेस आदि आदि आदि
प्रणाम
निसंदेह आप महान है, अनुभवी है, ज्ञानी है आपके समकक्ष मैं बहुत तुच्छ सामान्य सा संगठन का कार्य
...और देखें
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कल 07:59 पूर्वाह्न बजे
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Mahesh Sharma शाब्दिक तकनीक पर आपकी पकड़ है, अच्छा लगा।
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कल 08:09 पूर्वाह्न बजे
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Mahesh Sharma पर कभी कभी आपका उत्तर प्रतिक्रिया जैसा लगता है।
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कल 08:11 पूर्वाह्न बजे
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Kaushal Sharma आदरणीय प्रकाश जी 
आप अभिमन्यु नहीं हमारे अर्जुन है ।आपकी छवि को मलिन करने का अपराध मै सोच भी नहीं सकता। आप हमारी निजि पूँजी हो। प्रकाश जी मै आपके कई विचारों से असहमत रहता हूँ लेकिन आपकी प्रगति मुझे उतनी ही सुहाती है जितनी राजीव शुक्ल, शिव प्रताप शुक्ल,
 विनय कटियार की । विश्वास रखे निजी स्तर पर आपकी बात मेरे लिए ब्रह्म वाक्य है लेकिन सामयिक मुद्दों पर स्वतंत्र राय रखना मेरी आदत है , मेरा अधिकार है , और आपको भी मेरे इस अधिकार का सम्मान करना ही चाहिए। मेरे स्वतंत्र विचारों को किसी दल विशेष से प्रेरित मानना या उन्हे देशद्रोह की श्रेणी मे रखना कतई न्याय संगत नही है ।
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कल 08:11 पूर्वाह्न बजे
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Mahesh Sharma हमे जज नियुक्त कर दो और जो कचहरी में राज कुमार के छोले भठूरे खिला दे, फैसला उसी की तरफ। आप दोनों के लिए बराबर का अवसर है। छह को आ रहा हूं। हा हा हा
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कल 08:15 पूर्वाह्न बजे
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Mahesh Sharma प्रकाश जी फिर लुप्त हो गए। कहां हैं आप प्रकाश जी, शब्दावतरित होइए।
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कल 08:24 पूर्वाह्न बजे
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Mahesh Sharma वसुधैव कुटुंबकम के समर्थक प्रकाश जी के रोहिंग्या मुस्लिमों पर क्या विचार हैं? फेसबुक दोस्तों को बताएं।
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कल 08:43 पूर्वाह्न बजे
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Prakash Sharma Kaushal Sharma पिंड और तत्व में इतना गहरा विरोधाभास् हजम नही होता मै सर विचार का मर्यादित विरोध विचार से करता हु ,रतौंधी,कनौधि मुऔंधी वाला वाक्य अपने जल्दी में पढ़ा कृपया आप उसको दुबारा पढ़े आप के लिए नही किसी सन्दर्भ में लिखा है
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जवाब देंकल 09:42 पूर्वाह्न बजे
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Prakash Sharma Mahesh Sharma जी भारतीय मुस्लिम हमारे सगे भाई है,ये बात मै जमाने से कहता और सर्व जनिक बोलता आ रहा हु तहलका में मेरा बजरंग दल के मुखिया के नाते दिया साक्षात्कार पढ़ लीजिये भारत में रहने वाला कोई भी मुसलमान ऐसा नही जिसके पूर्वज हिन्दू न हो,लेकिन कट्टरता जेहादिस्म स्वीकार नही ,पूर्वज एक है तभी तो घर वापसी होती है 
"जो भाई भूले भटके हाथ पकड ले साथ चलें"
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जवाब देंकल 09:46 पूर्वाह्न बजेसंपादित
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Mahesh Sharma भूले भटके हाथ पकड़ने
से आपका अभिप्राय
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जवाब देंकल 09:48 पूर्वाह्न बजे
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Mahesh Sharma मैं नागरिकों से इतर बात कर रहा था। छोड़िए ताजा पोस्ट पर कमेंट प्लीज
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जवाब देंकल 09:50 पूर्वाह्न बजे
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Prakash Sharma "जिन्होंने भी भूल से,धोखे से लालच से धारा बदल दी वो स्वेक्षा से यदि मूल धरा में आना चाहें
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जवाब देंकल 09:57 पूर्वाह्न बजे
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Mahesh Sharma यह तो हमारा संस्कार है।
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जवाब देंकल 10:07 पूर्वाह्न बजे
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Mahesh Sharma रामजन्म भूमि आंदोलन का भूमिगत होकर संचालन में जब ये जुटे थे और कभी विग लगा कर तो है, कभी दाढ़ीयुक्त तो कभी दाढीमुक्त होकर हैट लगाए यदाकदा देखे जाते थे तब ये हमारे लिए न्यूज आइटम होते थे। हिंंदुत्व के समर्पित व्यक्ति हैं। ट्रॉल आर्मी वाले नहीं हैं। चिंतनशील हैं।
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जवाब देंकल 06:58 पूर्वाह्न बजे
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Mahesh Sharma लेखन में तकनीकी त्रुटि के लिए खेद।
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Mahesh Sharma अभी तो कौशल जी और प्रकाश जी को नमन करने का वक्त है। दो वाकपटुओं के बीच कटाजुज्झ मची है।
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कल 07:16 पूर्वाह्न बजे
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Mahesh Sharma वैसे प्रकाश जी से वैचारिक द्वंद्व का मजा ही और है बिल्कुल नमस्ते इंडिया का मजा वाला
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कल 07:20 पूर्वाह्न बजे
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Mahesh Sharma मेरी स्थिति तो वही हो गयी है कि हाहाकार मचाता बंदर कूद पड़ा विचारों के अंदर
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कल 07:21 पूर्वाह्न बजे
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Mahesh Sharma मुसलसल दुश्मन-ए-जां की निगहबानी में रहना है/जहां घड़ियाल रहते हैं उसी पानी में रहना है।।
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कल 07:23 पूर्वाह्न बजे
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Adv Manharan Gopal Awasthi कौशल जी,मैं आपसे यह आग्रह करता हूँ कि आप कृपया आप इस प्लेट फॉर्म पर इस तरह के संवाद से अपने आप को विरत रखें,प्रकाश जी आपके अपने ही हैं, समाज का यह नियम है कि जब कोई ब्यक्ति किसी को अपना मानता है और वो ब्यक्ति उसकी अपेक्षाओंके अनुरूप आचरण करता नही प्रतीत होता तो वह अन्य दीगर ब्यक्ति से अधिक उस पर कुपित होता है क्योंकि वो उससे इस ब्यवहार की कल्पना नही करता ,यह मानव मन की स्वाभाविक प्रक्रिया है जो सम्भवतः आपके मध्य घटित हो रही है।कानपुर में बहुत लोग आप दोनों से भिज्ञ हैं और आप दोनों के सम्बन्धो से भी भली भांति वाकिफ हैं वो आप लोगो के मध्य इस तरह के संवाद को न तो पसन्द करते हैं और न ही उचित मानते हैं,उनकी ही भावनाओं का प्रतिनिधित्व करते हुए मैं आपसे यह निवेदित कर रहा हूँ।यह प्लेट फॉर्म वैचारिक विमर्श का सर्वोत्तम आधार है जिस पर आप दोनों के विचार अवश्य लाभान्वित करते है,मात्र उतना ही उपयोग उचित व वाङ्क्षणीय है ।आशा है आप दोनों हमारे निवेदन को विचारार्थ सवीकृति करेंगे।
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कल 07:31 पूर्वाह्न बजे
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Prakash Sharma Adv Manharan Gopal Awasthi जी आपकी बात VICEVERSA है न/
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Suresh Sachan शर्मा जी आपकी निडरता, निष्पक्षता को सलाम। वर्तमान में जबकि विरोधी विचारों को सम्मान देने के बजाय उसको हिन्दू विरोधी, राष्ट्र विरोधी बताकर उस व्यक्ति को ही समाप्त करने का अभियान चलाया जा रहा हो, ऐसे में आप जैसा सिद्धांत वादी और वैचारिक रूप से मजबूत व्यक्ति ही ऐसा कहने का साहस कर सकता है। 
आप जैसे लोग ही समाज को सही रास्ता दे सकते हैं। बहुत बहुत साधुवाद।
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कल 09:44 पूर्वाह्न बजे
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NK Singh कौशल जी बहुत सही कहा आपने
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कल 01:59 अपराह्न बजे
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Prabhakar Mishra · 6 आपसी मित्र
फेस बुक पर आप लोगो की काफी दिनों से बहस चल रही आप दोनों अग्रजो को काफी समय से जानता पहचानता हूं तो क्यो न एक बार खुले मंच पर बहस हो जानी चाहिए
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कल 03:10 अपराह्न बजे
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Asit Kumar Singh भक्तो को सच पसन्द नही है।और आप जिन्हें आइना दिखा रहे हैं वे इसी व्यवस्था की पैदाइश हैं।ये आपके अकाट्य तर्को का जवाब नहीं देंगे बल्कि आंय शांय बकलोली करेंगे।
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कल 06:08 अपराह्न बजे
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Prakash Sharma Kaushal Sharma पत्र का उत्तर 
जी पूर्व कार्यकर्ता abvp, कारागार बन्दी आपात काल, पूर्व शासकीय अधिवक्ता कानपुर नगर,पूर्व प्रतिनिधि संसद राजीव शुक्ला कांग्रेस आदि आदि आदि
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निसंदेह आप महान है, अनुभवी है, ज्ञानी है आपके समकक्ष मैं बहुत तुच्छ सामान्य सा संगठन का कार्यकर्ता हु सिर्फ आपही ने आपातकाल झेला, आपही ने आपातकालीन की बेड़ियों से भारत को मुक्त कराया हम तो शायद इतना कुछ कर न सके, मैं आपको देशभक्ति का क्या पाठ पढ़ा सकता हु, मैंने कोई प्रमाण पत्र दियाभी नही है लेकिन अपनी जिन जिन विशेषताओं का वर्णन आपने किया है, अपनी जिस विराट संगठन निष्ठा का बखान आपने किया है उस सबके होते हुए भी आजतक आपकी कलम से उस विचार और संगठन परम्परा के लिए एक शब्द प्रशंसा का नही देखा बहुत मजबूरी में सुषमा जी की प्रशंसा करनी भी पड़ी तो अपनी दिव्य दृष्टि और दिव्य ज्ञान से पता करके आपने कुछ लोगो कि नाराजगी की बात लिख दी।ये सब प्रयास देख कर मुझे लिखना पड़ा,मैन कोई अनर्गल आरोप आप पर नही लगाया आपकी स्वयम वर्णित अपनी योग्यता और प्रकट विचारो के बीच के विरोधाभास को शब्द दिए है।वो शब्द इस विरोधाभास को प्रकट करतेहै, मेरी टिप्पणी पर एक भावनात्मक पत्र लिख कर समाज के सामने मेरी छवि मलिन करने का प्रयास भी वामपंथी तरीका है false propognda,शायद मै डर कर चुप हो जाऊं। एक तरफ तो संगठन का आधार बताना और दूसरी तरफ व्यवस्था के विरोध के नाम पर कुछ भी मनमाना लिखते जाना, बस मैं भी इस दोहरे आचरण का विरोध करता हु सकारात्मक अलोचना सरमाथे पर अनर्गल आलोचना का उत्तर अवश्य मिलेगा, आप झूठे तथ्य विहीन आरोप लगाना बन्द कीजिये अन्यथा उत्तर भी सुनिए, बहुत बहुत धन्यवाद
आपका अपना
प्रकाश शर्मा
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Zafar Ullah Khan दरअसल आज कुछ ताकत इस मुल्क से गांधी की विचारधारा को खत्म करने का प्रयास कर रहे है
हमे होशियार रहने की जरूरत है
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NK Singh आज गांधी जी की बात तो होती पर गांधीजी के विचारों पर चलने वाले कितने लोग हैं
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Dayakrishna Kandpal आलोचना करना समाजका मार्ग दर्शन करना पत्रकार का हक है जो नेता अपनी प्रशंसा सुनना चाहते है उन्हे शंकर की तरह.बिषपान व कडुवी.घूट भी पीनी चाहिये
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Sharad Dwivedi Kaushal ji jawab bahut sateek diya
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Satyavan Singh · Rajbeer Singh का मित्र
sach kahna agar bagavat hai to samjho hum bhi bagi hai
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Chandra Shekhar Singh काइसे आगे चुनाव जीत ज़ायेंगे ? जनता की दिल पर राज करना और बात है हमेशा ही मजबुत सरकार की फ्लटी होती है क्यों कि मजबुत सरकार सखती से किसी चीज को लागू करती है ज़िसे जनता दारकिनार कर दिती है
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